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- The Couple Who Came Seeking Protection Will Have To Tell Whether They Are Already Married Or Divorced, The Registrar Of The High Court Has Been Instructed To Change The Rules.
चंडीगढ़14 घंटे पहलेलेखक: ललित कुमार
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परिवार की इच्छा के खिलाफ प्रेम विवाह अथवा साथ रह रहे जोड़ों की तरफ से सुरक्षा दिए जाने की मांग पर पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट तब ही सुनवाई करेगा जब याचिका दायर करने वाले दोनों लोगों की तरफ से एफिडेविट दायर किया जाएगा। एफिडेविट में जन्मतिथि के साथ अपनी वैवाहिक स्थिति का भी ब्यौरा देना होगा। जस्टिस अरविंद सिंह सांगवान ने इस संबंध में हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल को निर्देश दिए कि वे 1 नवंबर से नए नियमों को लागू करें।
कोर्ट ने कहा कि भले ही जोड़ा लिव इन रिलेशनशिप में रह रहा हो उसे अपनी स्थिति एफिडेविट में स्पष्ट करनी होगी। जालंधर निवासी एक जोड़े ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर सुरक्षा सुनिश्चित किए जाने की मांग की मगर लड़की ने एिफडेविट नहीं दिया था। लड़की अविवाहित थी जबकि लड़के की पहले शादी हो चुकी थी। कोर्ट ने कहा कि इस तरह के मामलों में संबंधित थाना प्रभारी शादी करवाने वाले पंडित व ग्रंथियों के रजिस्टर चेक करें और देखें कि जोड़े ने अपनी वैवाहिक स्थिति की जानकारी दी है या नहीं।
अब तक जोड़े में से एक ही दायर कर रहा था एफिडेविट
मौजूदा समय में हाईकोर्ट में सुरक्षा दिए जाने की मांग करने वाली याचिकाओं में जोड़े में से एक ही एफिडेविट दायर कर यह जानकारी दे रहा था। हाईकोर्ट ने एक मामले में सुनवाई के दौरान पाया कि वकील नियमों के मुताबिक खरा उतरने वाले का एफिडेविट दायर करते हैं जबकि उसके दूसरे साथी की जानकारी नहीं देते।
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