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- The Father Of The Accused, Arrested On The Charge Of Making A Fake Mail In The Name Of Chief Engineer Of PWD, Pleaded, Said That The People Involved In This Should Also Be Interrogated, The Police Is Not Recording The Statement Of The Son
चित्तौड़गढ़4 घंटे पहले
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प्रेसवार्ता करते हुए।
जिले में फर्जी मेल करने के आरोप में प्रोडक्शन वारंट में गिरफ्तार आरोपी नरेश ठक्कर के केस में एक नया मोड़ आ गया हैं। आरोपी के परिजनों ने पुलिस की कार्रवाई पर सवाल करते हुए ठक्कर के एक अन्य साथी और एक कैमरामैन पर आरोप लगाया है। परिजनों का कहना है कि उसके इस कार्य में अन्य एक साथी भी सम्मिलित था, जबकि उसको बचाने के लिए कोई बड़े पद के लोग और पुलिस आरोपी ठक्कर का बयान दर्ज नहीं कर रही हैं। वहीं, पुलिस का कहना है कि इस मामले में जिस जिस के नाम आये है उन सभी को लेकर जांच चल रही हैं। जिसका नाम नहीं है उनके खिलाफ कार्रवाई भी नहीं कर सकते।
बता दे कि आरोपी नरेश ठक्कर को अपने दोस्त की कार चुराने के आरोप में सदर थाना पुलिस ने गिरफ्तार किया था। आरोप सिद्ध होने के बाद उसे जेल भी हो गई। लेकिन एक फर्जी मेल करने के मामले में PWD के चीफ इंजीनियर चैतन्य पंवार ने थाना कोतवाली में मामला दर्ज करवाया जिसके बाद कोतवाली पुलिस प्रोडक्शन वारंट के जरिए नरेश ठक्कर को गिरफ्तार कर 3 दिन का रिमांड प्राप्त किया।
दो अन्य लोग भी थे शामिल, बयान को रिकॉर्ड में नहीं ले रही पुलिस
आरोपी नरेश ठक्कर के पिता 87 वर्षीय धैर्य कुमार ठक्कर ने शनिवार शाम को एक पत्रकार वार्ता के दौरान कहा कि पेट्रोल पंप की NOC लेने के लिए फर्जी मेल करने के मामले में ठक्कर को फंसाया जा रहा है। इसका फायदा जिसको मिलने वाला था वो ही असली आरोपी है। 87 वर्षीय ठक्कर ने कहा कि इस मामले में आरोपी नरेश ठक्कर के साथ उनका एक अन्य साथी पीके अग्रवाल और पास कैमरामैन के रूप में काम करने वाला जयेश नंदवाना शामिल है। जयेश ने पीके के कहने पर ही ईमेल आईडी बनाई थी। परिवार का आरोप है कि इन लोगों ने भी पैसे लिए थे लेकिन नरेश ठक्कर का पुलिस बयान नहीं ले रही हैं।
अधिवक्ता का आरोप, केस में बड़े नाम जुड़े
नरेश ठक्कर के अधिवक्ता राहुल पंचोली ने बताया कि जब आरोपी अपना बयान देता है तो पुलिस को रिकॉर्ड में रखना चाहिए। जबकि पुलिस रिकॉर्ड में नाम नहीं ले रही है। आरोपी के साथ इस केस में जो शामिल थे उनके पीछे किसी बड़े आदमी का हाथ है जिसके कारण पुलिस पर दबाव है।
जांच निष्पक्ष, नाम सामने आएंगे तो होगी गिरफ्तारी
वहीं, थाना कोतवाली थानाधिकारी तुलसीराम ने बताया कि फर्जी मेल करने के आरोप में नरेश ठक्कर को गिरफ्तार किया गया। पूछताछ के दौरान पता चला कि नरेश ठक्कर ने ही यह मेल किया था और यह मेल आईडी जयेश नंदवाना ने बनाई थी। जयेश से इस मामले में पूछताछ हुई तो उसने कुछ तकनीकी बातें बताई। जिसका हमारे टेक्निकल टीम द्वारा जांच की जा रही है। इसके अलावा यह बात भी सामने आई कि उमेश अजमेरा के कंप्यूटर से यह मेल किया गया था। थानाधिकारी तुलसीराम ने बताया कि उमेश अजमेरा को गिरफ्तार कर उसकी कंप्यूटर बरामद कर लिए गए हैं और उससे पूछताछ भी की जा रही है। टेक्निकल टीम की जांच पूरी होते ही जो जो भी इसमें शामिल है उन सब को गिरफ्तार किया जाएगा लेकिन जिनका नाम तक नहीं है, उन्हें गिरफ्तार करना भी संभव नहीं है।
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