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- On The Last Day Of The Election Campaign, The High Court Upheld The Certificate Of Municipality Chairman Kanwar Singh, The Ban On The Election, The Oath Was Stuck In The Matter Of The Certificate.
रेवाड़ी2 घंटे पहले
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रेवाड़ी के धारूहेड़ा नगर पालिका का फाइल फोटो।
धारूहेड़ा नगर पालिका चेयरमैन पद के उप चुनाव के बीच प्रचार के आखिरी दिन हरियाणा एंड पंजाब हाईकोर्ट ने कंवर सिंह के सर्टिफिकेट को योग्य करार दे दिया हैं। इसके साथ ही चुनाव पर भी रोक लग गई है। दरअसल, दिसंबर 2020 में हुई धारूहेड़ा नगर पालिका चेयरमैन चुनाव में कंवर सिंह ने जीत दर्ज की थी। उसके बाद उनकी मार्कशीट को लेकर विवाद हुआ और जांच के बाद उनकी मार्कशीट को फर्जी बताया गया था। चुनाव आयोग ने भी कुर्सी पर बैठने से पहले ही उन्हें हटाकर नए सिरे से चुनाव कराने की घोषणा की थी। 27 अगस्त से धारूहेड़ा नगर पालिका चेयरमैन पद के लिए उप चुनाव की प्रक्रिया शुरू हुई थी। इधर अयोग्य करार देने के विरोध में निर्वाचित कंवर सिंह की ओर से पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई थी। इस दायर याचिका की शुक्रवार को सुनवाई हुई। अदालत की ओर से चेयरमैन की सर्टीफिकेट को योग्य करार दिया गया है। हाईकोर्ट ने 15 मार्च 2021 को सुनाए गए फैसले का गलत साबित कर दिया है।
नव निवार्चित धारूहेड़ा के चेमरमैन कंवर की मार्कशीट को लेकर चुनाव के बाद फर्जी बताते हुए एफीडेविट देने वाले चैयरमैन पद के उम्मीदारों को व प्रशाशन को हाईकोर्ट ने नोटिस जारी कर जबाव मांगा था। इसी के चलते धारूहेड़ा के 7 चेयरमैन उम्मीदवार व
पांच प्रशासनिक अधिकारियों को इस बावत जबाव देने के निर्देश दिए थे। कंवर सिंह का दावा है कि उनकी मार्कशीट सही है तथा जिसकी दिल्ली से वैरिफिकेशन हो चुकी है, ऐसे में मार्कशीट का फर्जी बताना गलत है। कंवर सिंह की ओर से अपील करने के बाद हाईकोर्ट ने जबाव देने को कहा था।
संदीप बोहरा सहित अन्य ने दी थी शिकायत
चुनाव आयोग को दी शिकायत में संदीप बोहरा के साथ-साथ सात अन्य चेयरमैन उम्मीदवारों ने एफिडेविट देते हुए आरोप लगाए थे कि कंवर सिंह ने जो 10वीं मार्कशीट दिखाई है। वह दी सेंट्रल बोर्ड ऑफ हायर एजुकेशन से दर्शाई गई है तथा 2 जुलाई 1981 में परीक्षा पास की है। उस समय हरियाणा में इस तरह का कोई बोर्ड नहीं था। जिला प्रशासन से 10वीं मार्कशीट जांच होने तक शपथ नहीं दिलाने की मांग की थी। उपायुक्त की ओर से कागजातों की जांच एसडीएम कोसली को सौंपी थी। जिसमें एसडीएम की ओर से कंवर सिंह की मार्कशीट को हरियाणा बोर्ड के अनुसार वैध नहीं बताते हुए फर्जी करार दिया गया था। जांच रिपोर्ट चुनाव आयोग के पास भेजी गई थी। कंवर सिंह को चुनाव आयोग की ओर से मार्च 21 में डिसक्वालीफाई कर दिया गया था। इसको लेकर कंवर सिंह की ओर से मार्कशीट को लेकर हाईकोर्ट में अपील की गई थी।
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